जमीनी विवाद में भाड़ा के शूटर की मदद से की गयी थी हत्या
गोरखपुर गुलरिया थाना क्षेत्र में विगत 2 अप्रैल को बीजेपी नेता ग्राम प्रधान प्रत्याशी बृजेश सिंह की गोली मारकर हत्या की घटना को अंजाम दिया था। इस मामले में पुलिस ने चार नामजद आरोपियों को तत्परता दिखाते हुए पुलिस अधीक्षक उत्तरी मनोज कुमार अवस्थी के नेतृत्व मे हिरासत में ले लिया था लेकिन वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक दिनेश कुमार पी तथा पुलिस अधीक्षक उत्तरी मनोज कुमार अवस्थी तथा पुलिस अधीक्षक अपराध डॉ महेंद्र पाल सिंह को नामजद अभियुक्तों से पूछताछ करने के बाद अपराध में संलिप्त रहने वाले अपराधियों को पकड़ने के लिए टीम गठित कर दी थी पंजाब की दो शूटर के अलावा बाकी सभी अपराध में संलिप्त अभियुक्तों को गिरफ्तार कर निर्दोष व्यक्तियों को अपराध से दोष मुक्त करते हुए एक मिसाल पेश की है किसी भी घटना में संलिप्त रहने वाले दोषी ही जेल जाएंगे निर्दोषों को गोरखपुर की पुलिस दुश्मनी या गलतफहमी में फंसाए गए व्यक्तियों को जेल नहीं जाने देगी जांच करने के बाद ही गुण दोष के आधार पर कारवाही करेगी पुलिस अधीक्षक उत्तरी की टीम तथा क्राइम ब्रांच व सर्विस लांस तथा एसओजी की टीम घटना के अनावरण में लगी हुई थी जांच पड़ताल में रामसमुझ पुत्र हरिवंश निवासी नारायणपुर थाना गुलरिया का नाम सामने आया और पुलिस ने पूछताछ के लिए इसको अपने साथ ले आई।पुलिस के अनुसार रामसमुझ और बृजेश सिंह के परिवार से एक जमीनी विवाद कई वर्षों के से चल रहा था।जिसका फैसला नही होने पर रामसमुझ ने अपनी जमीन बहादुर चौहान और जितेंद्र सिंह को रजिस्टर्ड इकरारनामा तैयार कर सुपुर्द कर दिया था इन दोनों लोगों ने योजना बनाई की त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव के समय बृजेश सिंह की हत्या को अंजाम देकर पूरा मामला चुनावी रंजिश का दिखाकर पुलिस को गुमराह कर देंगे।वही पुलिस ने घटना का अनावरण करते हुए 5 आरोपियों को गिरफ्तार किया जिसमें बहादुर चौहान जितेंद्र सिंह ने मिलकर अमृतसर पंजाब से दो शूटरों को हत्या की सुपारी दी और इन लोगों ने जमीन के पैसे से 20 प्रतिशत देने का आश्वासन दिया था और 8000 एडवांस देते हुए इनके आने जाने का किराया दिया था बताते चलें कि बृजेश सिंह को गोली मारने में सतनाम और राजवीर के साथ जितेंद सिंह भी शामिल था। पुलिस ने पांच आरोपियों को गिरफ्तार करते हुए इनके पास से दो तमंचा कारतूस और घटना में प्रयुक्त मोटरसाइकिल बरामद किया वहीं फरार आरोपियों के ऊपर पुलिस ने 25-25 हजार का इनाम घोषित किया है इस हत्याकांड में पहले नामजद अभियुक्त बनाए गए विनय श्रीवास्तव पवन श्रीवास्तव सुनील श्रीवास्तव की संलिप्ता ना होने पर उन्हें बरी कर दिया। फिलहाल पंजाब के दोनों शूटर के ऊपर वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक दिनेश कुमार पी ने 25000 इनाम की घोषणा की है गिरफ्तारी के लिए टीम लगा दी है बहुत ही जल्द पुलिस के गिरफ्त में अपराधी होंगे।